Thursday, February 13, 2020

दर्द भरा ग़ज़ल/Dard bhara ghazal.

दर्द भरी ग़ज़ल(Dard bhari ghazal)

अगर हुई कोई ख़ता मुझसे तो मुझे बतलाओ तुम,
पल भर रिश्ता सदियों का तोड़कर न जाओ तुम।
      Geetkar niraj,dard bhari ghazal,दर्द भरी ग़ज़ल, लव ग़ज़ल।     

वो सपने जो दिखाये थे प्यार में मुझे तूने,
खिले -खिले हैं अभी फूलो सा।
इसे ममोड़ के न जाओ तुम।।
पल भर में.......................2।

तुम्हीं ने प्यार दिया और ग़म भी दिये,
तुम जख़्म दिया और मरहम भी दिये।
सोचता हूँ तुम्हें कोसूँ या दुआ करूँ,
समझ में कुछ नहीं आता मुझे बतलाओ तुम।
पल भर में ........................2।

अगर तू मजबूर है तो तेरी मजबूरियां तो सुनूँ ,
तेरी जुवां कुछ और कह रही है और आँखें कुछ और।
बात क्या हो गई मुझे बतलाओ तुम।
पल भर में................................3।

                              


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शिक्षक दिवस पर शायरी।

विधार्थियों से मैं  कहता हूँ,  शिक्षकों का सम्मान करें। है शिक्षकों से अनुरोध मेरा,  विधार्थियों का चरित्र निर्माण करें।